बुद्ध के उपदेश
“Budh ke updesh”
(Spiritual thoughts)
बुद्ध कहते हैं समस्त बुराइयों से बचना, अच्छाई को विकसित करना यानी अकुशल, बुरे कर्म नहीं करना और कुशल कर्म या पुण्य कर्म करना। अपने मन को विशुद्ध बनाना यही समस्त बुद्धों का उपदेश है।
बुद्ध की मूलभूत शिक्षा और उपदेश आध्यात्मिक साधकों को सही मार्ग पर बनाए रखने में सहायक होते हैं। इसीलिए शील के नियम बनाए गए।
इन नियमों का पालन किए बिना समाधि की साधना या आंतरिक अभ्यास फलदायक नहीं हो सकता।
मगर केवल इन नियमों का ही पालन करते रहना आध्यात्मिक ज्ञान, अंतर बोध या मुक्ति नहीं दिला सकता, बल्कि अपने गुरु द्वारा दिए गए निर्देशों तथा विधियों का सहारा लेकर पूरे विश्वास और श्रद्धा से खूब आध्यात्मिक अभ्यास करना चाहिए।