“निभते हुए रिश्ते” (Relationship)“ (Hindi Poetry) देखा तो है हमने अंधड़ में लचीले पेड़ों को लचक रिश्तों में हो इतनी गर, उम्र सहज ही कट जाती है झुलसे हुए पेड़ों ...
“अविरल वक़्त (Continuous Time)“ (Hindi Poetry) ख़ुशी के तरीके सबके अपने-अपने हैं आरजी ही सही पर कुछ वक्त वक़्त को तो, भुला ही देते हैं वक़्त की फिदरत है खींचता ...
“पानी के जहाज का “कौआ” अपने से कितनी दूर उड़ सकता है, सहारा तो जहाज का लेना ही पड़ता है” “परमात्मा कहीं आकाश में नही बल्कि आपमें हो रही धड़कन ...
“मौत का डर (Fear Of Death)” (Hindi Poetry) कब किसने सोचा था, की थम सी जाएगी दुनिया अपनों से अब तक बचा सा रहता था, मैँ वक्त के बहाने ...