Hindi Poetry तुराज़ की शायरी -5 Turaaz ki Shayari (Hindi Poetry) तुराज़ की शायरी -5 “Turaaz ki Shayari” (Hindi Poetry) जिसने भी तन्हाई में जीना सीख लिया, उसी से रु – ब – रू हुई है ज़िंदगी, हकीकत तो यही है ... by Turaaz • 11 Oct, 2022